सामूहिक विवाह समारोह से समय की बचत : विधायक संजय पुराम

Sun 18-May-2025,06:01 AM IST -07:00
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प्रतिनिधी गुलशन बनोठे सालेकसा

140 जोडे विवाह बंधन मे बंधे 

सालेकसा-सामूहिक विवाह समारोहों से समाज को कई लाभ मिलते हैं. सबसे प्रमुख लाभ यह है कि इससे सकल समाज को एक साथ आने का अवसर मिलता है, समय की बचत होती है, पैसे की बचत होती है, और साथ ही सरकार की योजनाओं का भी लाभ मिलता है. इससे समाज कर्ज में डूबने से बचता है. इसी कारण हमारे महापुरुषों ने सामाज प्रबोधन के माध्यम से सामूहिक विवाह करने का आह्वान समाज से किया था. उसी का अनुसरण करते हुए आज विभिन्न स्थानों पर सामूहिक विवाह समारोह आयोजित किए जा रहे हैं. उसी का एक भाग आज पुराडा में आयोजित यह आदिवासी समाज का सामूहिक विवाह समारोह है. यह वक्तव्य आमगांव-देवरी विधानसभा क्षेत्र के विधायक संजय पुराम ने पुराडा में आयोजित आदिवासी समाज के सामूहिक विवाह समारोह की अध्यक्षता करते हुए दिया.उन्होंने आगे कहा कि सरकार द्वारा दिया जाने वाला अनुदान बहुत कम है और हम आगामी वर्ष में इसे बढ़ाने की मांग सरकार से करेंगे ताकि समाज को इसका अधिक लाभ मिल सके.इस अवसर पर कार्यक्रम के उद्घाटक जिला परिषद अध्यक्ष लायकराम भेंडारकर, प्रमुख अतिथि के रूप में सांसद डॉ. एन. डी. किरसान, पूर्व विधायक भेरसिंग नागपुरे, केशव मानकर, पूर्व जिला परिषद अध्यक्ष विजय शिवणकर, पूर्व भाजपा अध्यक्ष एड.येसुलाल उपराडे, गोंदिया भाजपा संपर्क प्रमुख बाला अंजनकर सहित अनेक मान्यवर उपस्थित थे.कार्यक्रम का प्रास्ताविक पूर्व महिला एवं बाल कल्याण सभापति सविता संजय पुराम ने प्रस्तुत किया, जबकि आभार प्रदर्शन एडवोकेट संगीड़वार ने किया. कार्यक्रम का संचालन सामाजिक कार्यकर्ता चेतन उईके ने किया.कार्यक्रम को सफल बनाने हेतु आमगांव-देवरी विधानसभा क्षेत्र के सालेकसा, आमगांव और देवरी तहसीलों के सभी भाजपा पदाधिकारियों, पंचायत समिति के सभापति, उपसभापति, सदस्य और सरपंचों सहित जी.प. सदस्यों ने अथक प्रयास किए।दो दिवसीय इस विवाह समारोह के अंतर्गत 17 मई को मंडप पूजन के अवसर पर गोंडी ऑर्केस्ट्रा और आदिवासी पारंपारिक मांदरी नृत्य का आयोजन किया गया था, जिसमें समाज के लोगों विशेषकर युवाओं ने भरपूर आनंद लिया. इतना ही नहीं, स्वयं विधायक संजय पुराम और उनकी धर्मपत्नी सविता पुराम ने भी आदिवासी पारंपारिक मांदरी नृत्य का आनंद लिया.इस सामूहिक विवाह समारोह में कुल 140 जोड़े विवाह बंधन में बंधे. प्रत्येक जोड़े को आदिवासी विकास विभाग की ओर से 25,000 रुपये की सहायता राशि प्रदान की जाएगी, ऐसी घोषणा देवरी के एकात्मिक आदिवासी प्रकल्प अधिकारी ने की.